निर्वाचक नामावली का प्रथम प्रकाशन
भोपाल में 21 लाख 14 हजार 70 मतदाता, 2029 मतदान केन्द्र
भोपाल : 4, Nov. 2024
कलेक्टर एवं जिला निर्वाचन अधिकारी श्री कौशलेन्द्र विक्रम सिंह की अध्यक्षता में स्टैण्डिग कमेटी की बैठक कलेक्टर कार्यालय सभाकक्ष में संपन्न हुई। बैठक में बताया कि भारत निर्वाचन आयोग के निर्देशानुसार 01 जनवरी 2025 की अर्हता तिथि के आधार पर फोटो निर्वाचक नामावली के विशेष संक्षिप्त पुनरीक्षण कार्यक्रम के अंतर्गत मंगलवार को मतदाता सूची का प्रथम प्रकाशन किया गया। भोपाल जिले में कुल 2029 मतदान केन्द्र हैं।
भोपाल जिले के 07 विधानसभा क्षेत्रों में 21 लाख 14 हजार 70 मतदाता दर्ज हैं। इन मतदाताओें में से 10 लाख 85 हजार 470 पुरूष और 10 लाख 28 हजार 432 महिला तथा 168 अन्य मतदाता सूची में शामिल हैं। 29 अक्टूबर से 28 नवंबर तक दावे आपत्ति प्राप्त किया जाना है इस दौरान अवकाश के दिनों में 9 नवंबर, 10 नवंबर, 16 नवंबर एवं 17 नवंबर दावे आपत्ति प्राप्त करने के लिए विशेष कैंपों का आयोजन किया जाएगा जिसमें संबंधित बीएलओ अपने-अपने मतदान केंद्रों पर दावा आपत्ति प्राप्त करेंगे।
जिला निर्वाचन अधिकारी श्री कौशलेंद्र विक्रम सिंह ने बताया कि राष्ट्रीय राजनीतिक दल को फोटोयुक्त मतदाता सूची की हार्ड कापी का एक सेट, फोटोरहित मतदाता सूची की सॉफ्ट कापी सीडी में, वर्तमान मतदान केन्द्रों की सूची अनुलग्नक-6, संक्षिप्त पुनरीक्षण 2025 का कार्यक्रम एवं निर्देश की प्रति, बीएलओ की सूची की सॉफ्ट कापी सीडी में एवं निर्वाचन से जुड़े अधिकारियों के मोबाइल नम्बर लिस्ट प्रदान की गई।
बैठक में सभी मान्यता प्राप्त राजनैतिक दलों के अधिकृत प्रतिनिधि और निर्वाचन कार्य से जुड़े अधिकारी भी उपस्थित थे।
आयुक्त भोपाल संभाग की अध्यक्षता में एयरफील्ड पर्यावरण प्रबंधन समिति (AEMC) की बैठक संपन्न
June 07, 2024
शुक्रवार को भोपाल एयरपोर्ट के एटीसी सभागार में एयरफील्ड पर्यावरण प्रबंधन समिति (AEMC) के सदस्यों की बैठक आयुक्त भोपाल संभाग डॉ. पवन कुमार शर्मा की अध्यक्षता में संपन्न हुई।
बैठक में एयरपोर्ट के आसपास खुली, अनाधिकृत मीट-मछली की दुकान हटाने, एयरपोर्ट परिसर में पशुधन, सियार, कुत्ते के मूवमेंट, एयरपोर्ट की बाउंड्री वॉल के पास पेड़ों की नियमित छटाई, शहर की ओर एएनपीआर कैमरा लगाने, भारत सरकार के राजपत्र अधिसूचना जीएसआर 751 (ई) के अनुपालन, एयरपोर्ट के एप्रोच रोड पर अनाधिकृत पार्किंग, एयरपोर्ट से 5 किमी की परिधि में लेजर बीम तथा उच्च तीव्रता वाले प्रकाश पर प्रतिबंध, एयरपोर्ट पर ‘108 एम्बुलेंस सेवा’ आदि विषयों पर चर्चा हुई।
संभागायुक्त डॉ. शर्मा ने कहा कि अवैध एवं खुले में मांस की बिक्री बंद करे तथा विमानतल के 10 कि.मी. की रेडियस में मीट शॉप के लाइसेंस को नियंत्रित करने के निर्देश दिए। एप्रोच रोड पर वाहन अनाधिकृत रूप से पार्क करने के संबंध में यातायात पुलिस द्वारा एयरपोर्ट प्रशासन से समन्वय कर सतत कार्यवाही करने के निर्देश दिए गए। भोपाल विमानतल के 05 कि.मी. के रेडियस में लेजर बीम, हाई इंटेसिटी लाईट, आतिशबाजी आदि को प्रतिबंधित किये जाने के संबंध में जिला प्रशासन को आवश्यक कार्यवाई करने के निर्देश भी दिए गए।
संभागायुक्त डॉ. शर्मा ने नगर निगम आयुक्त को निर्देश दिए कि भोपाल विमानतल के आस-पास गार्बेज के पाइंट्स को चिन्हित कर वहाँ नियमित रूप से सफाई की जाए, डाग्स स्क्वाड को नियमित रूप से भोपाल विमानतल के आस-पास भेजकर स्ट्रे डाग्स को यहाँ से हटाया जाए। बैठक में कलेक्टर श्री कौशलेंद्र विक्रम सिंह, विमानपत्तन निदेशक भोपाल एयरपोर्ट श्री रामजी अवस्थी, एडीएम श्री हिमांशु चन्द्र, अपर आयुक्त नगर निगम सुश्री निधि सिंह एवं भारतीय हवाई अड्डा प्राधिकरण के अधिकारीगण उपस्थित रहे।
बैठक के पश्चात आयुक्त श्री शर्मा द्वारा बैरागढ़ क्षेत्र अन्तर्गत मीट-मछली विक्रय करने वाली दुकानों का निरीक्षण किया गया जहाँ मीट विक्रेताओं द्वारा मीट वेस्टेज को तालाब के किनारे ओपन एरिया में फेकना पाया गया। आयुक्त द्वारा कलेक्टर के माध्यम से नगर निगम को मीट विक्रय क्षेत्र में एक अलग कंटेनर बॉक्स स्थापित करने के निर्देश दिए गए जिसमें मीट विक्रेता द्वारा मीट वेस्टेज को डाला जाए। नगर निगम द्वारा नियमित रूप से मीट वेस्टेज कंटेनर बॉक्स से कलेक्ट कर उसका प्रॉपर डिस्पोजल किया जाए।
जिला प्रशासन द्वारा अवैध कालोनियों के विरूद्ध कार्यवाही निरंतर जारी
मई 22, 2024
कलेक्टर भोपाल श्री कौशलेन्द्र विक्रम सिंह के मार्गदर्शन में अवैध कालोनियों के विरूद्ध कार्यवाही करते हुए एस.डी.एम. गोविन्दपुरा एवं तहसीलदार गोविन्दपुरा द्वारा मंगलवार को ग्राम हताईखेड़ा स्थित खसरा नंबर-123/1/1/1 रक़बा 1.74 हैक्टेयर के अंश भाग लगभग 2.5 एकड़ निजी भूमि पर रविन्द्र शुक्ला, जयशिव एसोसिऐटस द्वारा लगभग 100 से अधिक प्लॉट्स काटकर खूँटी लगाकर अवैध प्लाटिंग एवं एक कमरा बनाया गया था जिसे मोके पर नगर निगम राजस्व दल एवं पुलिस बल की उपस्थिति में कार्यवाही की जाकर अवैध कॉलोनी के रूप में किए हुए निर्माण को हटाया गया।
क्रीसेंट वाटर पार्क में डूबने से 9 साल के मासूम की मौत, माता-पिता ने दान की बेटे की आंखें
6 May 2024
आरुष साकेत नगर स्थित निजी स्कूल से तीसरी कक्षा की पढ़ाई कर रहा था। पानी में डूबने से हुई मौत पर माता-पिता ने क्रीसेंट वाटर पार्क के प्रबंधन पर लापरवाही के आरोप लगाए हैं। उनका कहना था कि हादसे के समय मौके पर कोई लाइफ गार्ड नहीं था।
भोपाल के एक कारोबारी अपने परिवार के साथ रविवार को छुट्टी मनाने के लिए सीहोर के क्रीसेंट वाटर पार्क गए थे। कारोबारी का नौ साल का बेटा आरुष वाटर पार्क में नहा रहा था, इसी दौरान वह डूब गया। परिजन उसे लेकर तुंरत अस्पताल पहुंचे, जहां डॉक्टर ने मासूम को मृत घोषित कर दिया। बच्चे की असामयिक मौत के बाद दुखी होने के बावजूद माता-पिता ने खुद को संभालते हुए अपने बेटे के नेत्रदान का फैसला किया। सीहोर कोतवाली थाना प्रभारी गिरीश दुबे ने बताया कि भोपाल के साकेत नगर में रहने वाले गौरव राजपूत का पेपर ट्रेडिंग का कारोबार करते हैं। वे रविवार सुबह पत्नी अर्चना, 9 साल के बेटे आरुष, 2 साल के बेटे आरव और अपनी भाभी के साथ क्रीसेंट गए थे। परिवार के सभी लोग वाटर पार्क में उतर नहाने लगे। इस दौरान आरुष वाटर पार्क में डूब गया। गौरव ऊपरी हिस्से में था। खेलते-खेलते आरुष पानी में डूब गया। मां अर्चना का ध्यान गया तो उसे पानी से निकाला।
सुकून की तलाश में खरीद बैठे मुश्किलें, सोशल मीडिया पर किया पोस्ट
अप्रैल 22, 2024
एक आशियाना, हर तरफ खुशियां, हर और सुकून कमोबेश हर इंसान का यह ख्वाब होता है। शहर के कोलाहल और भागदौड़ भरी जिंदगी से राहत पाने के लिए वह जगह तलाश रहा है, लेकिन उम्मीदों और भरोसे के साथ उठाए गए कदम उन्हें मुश्किलों की तरफ ले जा रहे हैं। हालात किसी प्राइवेट बिल्डर से बनें तो यकीन किया जा सकता है। लेकिन सरकारी प्रोजेक्ट्स के साथ भी यही दोहराव हो तो असंतोष ज्यादा गहरा जाता है।
मामला राजधानी स्थित सफायर पार्क सिटी में पसरे हैं। एमपी हाउसिंग बोर्ड ने इस मेगा प्रोजेक्ट को आकार दिया है। करीब 14 एकड़ जमीन पर फैले इस प्रोजेक्ट में 4 गेट से घिरे 120 डुप्लेक्स मौजूद हैं, लेकिन यहां की सुरक्षा के लिए महज 2 सुरक्षा गार्ड मौजूद हैं, जिनके जिम्मे पूरे क्षेत्र की 24 घंटे की निगरानी रखी हुई है। सूत्रों का कहना है कि हाउसिंग बोर्ड ने रहवासियों से सुरक्षा के नाम पर प्रति निवासी 2.50 लाख रुपए जमा कराए हैं। रहवासी अपनी सुरक्षा को लेकर चिंतित तो हैं ही, उन्हें बगीचे की बदहाली और सड़क पर फैली गंदगी भी झेलना पड़ रही है।
जिम्मेदार नदारद
सफायर पार्क सिटी के निवासी अरविंद शीले कहते हैं कि प्रोजेक्ट पूरा कर हाउसिंग बोर्ड नदारद हो गया है। अब किसी तरह की समस्या को लेकर सुनवाई करने वाला कोई नजर नहीं आ रहा है। शीले ने सुरक्षा व्यवस्था से लेकर बगीचे की देखरेख और सड़कों की बदहाली को लेकर कई बार हाउसिंग बोर्ड के एक्जीक्यूटिव इंजीनियर और असिस्टेंट इंजीनियर से शिकायत की, लेकिन हालात ढाक के तीन पात जैसे बने हुए हैं।
और गांधीगिरी से विरोध
वरिष्ठ पत्रकार अरविंद शीले अपनी समस्याओं को लेकर कई बार अधिकारियों से संपर्क कर चुके। लेकिन कोई समाधान न निकलने पर उन्होंने गांधीगिरी का तरीका अपनाया है। शीले ने अपने घर के बाहर एक बोर्ड लगाया है। जिस पर लिखा है “यहां रहने में बड़े खतरे हैं…!” उन्होंने अपने घर के बाहर लगे इस बोर्ड की तस्वीर सोशल मीडिया पर भी वायरल की है। साथ ही लोगों से उनके विचार आमंत्रित किए हैं कि इस स्थिति में उन्हें क्या कदम उठाया जाना चाहिए।